महीने में सिर्फ दस्तखत करने आते हैं अधिकारी कर्मचारी
भ्रत्य चला रहे पूरा विभाग,जिम्मेदार फरमा रहे आराम
अधिकारियों कर्मचारियों के दफ्तरों में लटका रहता है ताला
केवलारी – इन दोनों संपूर्ण सिवनी जिले में पानी के लिए हाहाकार मचा हुआ है। भीमगढ़ बांध में पानी समाप्त होने से जिले मेंपेय जल समस्या बढ़ गई है। जबकि जिले में हमेशा की तरह पर्याप्त वर्षा हुई है जिसकी वजह से भीमगढ़ बांध में पर्याप्त पानी भी उपस्थित था परंतु लापरवाह और भ्रष्ट अधिकारी कर्मचारीयों की घोर लापरवाही से आज जिले में पानी के लिए त्राहि त्राही मची हुई है। ऐसा नहीं है की सरकार भीमगढ़ बांध की देखरेख और मेंटेनेंस की व्यवस्था नहीं करती हर साल मेंटेनेंस के नाम पर करोड़ रुपए खर्च किया जाता है और देखरेख हेतु सैकड़ो अधिकारी और कर्मचारी लगाए गए हैं जिनका काम भीमगढ़ बांध और संबंधित नहरों की देखरेख करना होता है। परंतु इन दिनों एरिगेशन विभाग में रिश्वत देकर अधिकारी घर बैठे फ्री की तनखा पा रहे हैं। जहां विभाग के मुखिया ही महीने में एक दो बार मुख्यालय में उपस्थित रहते हैं वहां उनके अधीनस्थ कर्मचारीयों की उपस्थिति का अंदाजा आप स्वयं लगा सकते हैं।
केवलारी मुख्यालय की बात करें तो एरीकेशन विभाग केवलारी में राधा टेकाम स्टेनो, कमल तिवारी सहायक मानचित्रकार ,राजू प्रधान सिंचाई निरीक्षक,अयोध्या सिंह मरावी सिंचाई निरीक्षक, डी के सोंधिया बाबू ,काशीराम ऊईके बाबू, ए के गौर बाबू ,श्रीमती कमलेश टेकाम बाबू, इंदिरा सिरसाम सहायक ग्रेड3 के साथ साथ रमेश लाल नार्वेती, रामकुमार बर्मन,शिवलाल मरकाम, दुर्गेश वर्मा, महेश श्रीवास्तव चार भ्रत्य अधिकारी कर्मचारी सहित इंजीनियर सब इंजिनियर पदस्थ हैं इनमें से अनेक कर्मचारी ऐसे हैं जो वरिष्ठ अधिकारियों से सांठ गांठ कर मनमाना समय में कार्यालय आते हैं और कुछ कर्मचारी तो बिना कार्यालय आए ही किए ही घर बैठे ही तनख्वा रहे हैं। तनख्वाह ना काटने के बजाय इन कर्मचारियों से तनख्वा का आधा आधा बंटवारा कर सरकार को चूना लगाया जाता है जिसमें जिम्मेदार अधिकारियों से लेकर तनख्वा बनाने वाले बाबू का भी हिस्सा होता है। इस पूरे खेल की जानकारी ऊपर से लेकर नीचे तक सभी अधिकारियों को है जिनको सहयोग करने के लिए अच्छी खासी रिश्वत पहुंचाई जाती है ताकि घर बैठे फ्री में तनख्वाह पा रहे कर्मचारियों को कोई दिक्कत न हो। इसके साथ ही वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा सभी अधिकारी कर्मचारियों का दिन तय कर दिया गया है कि किस दिन कौन कौन ऑफिस आएगा और कौन घर में आराम करेगा। महीने भर में सिर्फ 15 दिन ही कर्मचारी कार्यालय आते हैं और शेष 15 दिनों का वेतन फ्री में घर बैठे मिलता रहता है। ये व्यवस्था केवलारी में विगत कई सालों से चली आ रही है। अगर इस पूरे मामले की निष्पक्ष जांच की जाए तो फ्री में घर बैठे तनख्वाह पा रहे अधिकारियों कर्मचारियों पर कार्यवाही हो सकती है और विभागीय कार्यों में सुधार आ सकता है।
छिंदवाड़ा जिले का कर्मचारी दे रहा केवलारी में सेवाएं
कहने और सुनने में तो बड़ा अजीब है परंतु जिले में अनेक ऐसे अधिकारी कर्मचारी हैं जो वरिष्ठ अधिकारियों की मेहरबानी से पदस्थ छिंदवाड़ा जिले में हैं वेतन छिंदवाड़ा जिले से ले रहे हैं परंतु नौकरी ग्रह जिले के केवलारी कार्यालय में करते हुए औपचारिकता निभा कर हर महीने फ्री की तनख्वा पा रहे हैं। जिसकी मय प्रमाण शिकायत भी की गई है। जिसमें कर्मचारियों की कार्यालय में उपस्थिति का वीडियो एवं उपस्थित कर्मचारियों का वीडियो वर्जन भी दिया गया है। आखिर एक कर्मचारी छिंदवाड़ा जिले पदस्थ होते हुए नियम विरुद्ध केवलारी
कार्यलय में कैसे कार्य कर सकता है?
अगर इन लापरवाह कर्मचारियों अधिकारियो की एक सप्ताह की मोबाइल लोकेशन निकाल ले तो बड़ा खुलासा हो सकता है।
इस पूरे खेल की मयप्रमाण की गई शिकायत
पत्रकार प्रवीण दुबे को जब इस भ्रष्टाचार की जानकारी लगी तो उन्होंने पूरे एक सप्ताह तक एरिकेशन विभाग के ऑफिस जाकर पूरे ऑफिस की वीडियोग्राफी करअधिकारी कर्मचारियो की उपस्थिति का जायजा लिया और जब उपस्थिति रजिस्टर की मांग करते हुए पूरे रजिस्टर की जांच की तो विभाग के पूरे सिस्टम का खुलासा हो गया। इस उपस्थिति रजिस्टर में ऐसे कर्मचारियों को भी हर महीने पूरी तनख्वा दी जा रही थी जो विगत कई महीने से गंभीर बीमारी के चलते बिस्तर पर हैं जो कई महीने से बिना किसी अवकाश प्राप्ति के ऑफिस नहीं आए हैं।ऐसे ही अन्य कर्मचारी हैं जो नैनपुर, सिवनी व अन्य जगहों से महीने में कभी कभार उपस्थित रजिस्टर में छोड़ी गई खाली जगह पर एक साथ महीने भर के दस्तखत करने आते हैं। एक बाबू जिनका आंखों का ऑपरेशन हुआ है जो सिवनी से पहले कभी कभी आ जाया करते थे वे भी महीने भर से बिना छुट्टी के गोल बताए का रहे हैं । विभागीय सूत्रों की माने तो जो भी कर्मचारी अपनी तनख्वाह में से आधी राशि भ्रष्ट अधिकारियों को रिश्वत के रूप में दे देता है उनकी पूरी महीने की तनख्वाह घर बैठे ही मिल जाती है।
अब विचारणीय प्रश्न यह है कि ऐसे में जिले में जल संकट पर किसका दोष होगा ? पूरा सिवनी जिला पानी की समस्या से जूझ रहा है और जिम्मेदार अधिकारी कर्मचारी बिना काम किए फ्री में सरकार से तनख्वा पा रहे हैं ।
इनका क्या कहना है
आपके द्वारा जानकारी प्राप्त हुई है मेरे द्वारा जांच कराई जाएगी और जो लोग अनुपस्थित हैं उन्हें नोटिस जारी की जाएगी – विनोद उईके, इंजीनियर
आपके माध्यम से जानकारी प्राप्त हुई मेरे द्वारा जांच कर कार्यवाही की जाएगी – महेश अग्रवाल, एसडीएम केवलारी